Trick –
आबिद आज रुक जा अमेरिका
Explanation
आ- आयरलैंड
बी- ब्रिटेन
द- दक्षिण अफ्रीका
आ- आस्ट्रेलिया
ज- जर्मनी
रु- रूस
क- कनाडा
जा- जापान
अमेरिका
बी- ब्रिटेन
द- दक्षिण अफ्रीका
आ- आस्ट्रेलिया
ज- जर्मनी
रु- रूस
क- कनाडा
जा- जापान
अमेरिका
एक बार कुछ देश के लोग बैठकर आपस में बातेंकर रहे थे. भारत की तरफ से संविधान के प्रारूप समिति के अध्यक्ष डॉक्टर भीम राव अम्बेडकर चुप-चाप सुन रहे थे. बातें कुछ इस प्रकार हो रही थी.
ब्रिटेन :-पूरे देश पे मेरा कब्जा था इसलियेसंसद का निर्माण हम अकेले करेंगे.
(संसदीय प्रणाली, विधि निर्माण, एकल नागरिकता)
अमेरीका :-नहीं मेरे पास संयुक्तराष्ट्र संघ है. इसलिए लोगों को न्याय औरस्वतंत्रता दिलाना मेरा अधिकार है.
(न्यायिक, स्वतंत्रता का अधिकार और मौलिक अधिकार)
जर्मनी :-तुम लोग हमें विश्व युद्ध में हराए हो इसलिए पहले मैं आपातकाल घोषित करुंगा
(आपातकाल का सिद्धांत)
(आपातकाल का सिद्धांत)
फ्रांस :-मैं तो पहले से ही गणत्रंत वाला देश हूं ये तो तुम सब जानते ही हो.
(गणत्रंतात्मक शासन व्यवस्था)
कनाडा :-तुम लोग को जो करना हो करो. मैं एक शक्तिशाली देश हूं मैं तो शक्ति का बंटवारा करके अपनी सुरक्षा कर लूंगा.
(राज्यों में शक्ति का विभाजन)
(राज्यों में शक्ति का विभाजन)
आयरलैंड :- अरे यार! तुम लोग की नीति निर्देश तो मेरे कुछ समझ में ही नहीं आ रहे हैं.
(नीति निदेशक तत्व)
(नीति निदेशक तत्व)
ऑस्ट्रेलिया :-मैं विश्व कप क्रिकेट में हमेशा सूची नंबर-1 पर रहा हूं.
(समवर्ती सूची)
दक्षिणअफ्रीका :- पर मैं इतना अच्छा खेलने के बाद भी आजतक सेमीफाइनल तक भी नहीं पहुंच पाया. शायद हमें अपने खेल में कुछ संशोधन की जरुरत है.
(संविधान संशोधन की प्रक्रिया)
रूस :- भारत मेरा दोस्त है और उसकी मदद करना हमारा मूल कर्तव्य है.
(मूल कर्तव्य)
सभी देशों का सुनने के बाद अंबेडकर जी ने बड़े ही आराम से कहा…
इंडियन कुछ ऐसा करते हैं कि दुनिया याद रखती है. ये लो दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र का !
तो देखा न हो गया न आसानी से याद , उम्मीद है कि आप अब कभी नही भूलेंगे !
NOTE:-तथ्यों को याद करने के लिए एक काल्पनिक घटना का सहारा लिया गया है. इस घटना का वास्तविकता से कोई सरोकार नहीं है.
Nice sir
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